यूरोपीय क्षेत्र के ग्रुप-F में चल रही FIFA World Cup 2026 Qualifiers की मुकाबलों में एक बेहद सनसनीखेम रात रही जब आयरलैंड ने पुर्तगाल को 2-0 से हराकर सभी को चौंका दिया।
इस जीत के हीरो बने Troy Parrott, जिनकी दो शानदार गोलों ने पुर्तगाल की शीर्ष टीम को झुका दिया।

Parrott की क्लास और आत्मविश्वास
मैच की शुरुआत में ही Parrott ने 17वें मिनट में पहला गोल किया, जब Liam Scales के कॉर्नर को उन्होंने बॉक्स के अंदर खूबसूरती से पटककर नेट में पहुँचाया। बाद में, हाफ-टाइम के ठीक पहले, उन्होंने शानदार एकल रन के साथ पुर्तगाल के गोलकीपर Diogo Costa को चकमा देकर दूसरा गोल दर्ज किया।
इस प्रदर्शन ने उन्हें आयरलैंड की जीत का सबसे बड़ा आयाम दिया।
रोनाल्डो का लाल कार्ड — रात का सबसे बड़ा ड्रामा
मैच के 61वें (या 59वें) मिनट में Cristiano Ronaldo ने Dara O’Shea की पीठ पर कोहनी मारी, जो पहले येलो कार्ड था लेकिन VAR समीक्षा के बाद रेड कार्ड में बदल गया। यह उनकी पहली अंतरराष्ट्रीय (नेशनल टीम) रेड कार्ड थी, जो यह दिखाता है कि मैच का दबाव उन्हें भारी पड़ा। रेफरी के फैसले और VAR की भूमिका ने पूरे मैच का रुख पूरी तरह बदल दिया।
आयरलैंड की डिफेंसिव मजबूती
दूसरे हाफ में, जब पुर्तगाल ने दबाव बढ़ाया और गोल के मौके बनाए, आयरलैंड की टीम ने संगठित और दृढ़ रक्षात्मक प्रदर्शन किया। गोलकीपर Caoimhín Kelleher ने महत्वपूर्ण सेव कीं, खासकर मैच के अंत में, जिससे पुर्तगाल की वापसी के प्रयास विफल रहे। आयरलैंड ने पूरे खेल में संयम और रणनीति के साथ खेलते हुए बड़े प्रतिद्वंद्वी को शिकस्त दी।
पुर्तगाल की निराशा और हालात की तकरार
पुर्तगाल हालांकि गेंद पर नियंत्रण में रहे और कई शॉट्स लिए, लेकिन गोल नहीं कर सके। Ronaldo के भेजे जाने के बाद उनकी स्थिति और कठिन हो गई, और उन्होंने दबाव में आने के बावजूद आयरलैंड की नज़र बंद रखने में नाकाम रहे।
यह हार उनके लिए सिर्फ अंक का नुकसान नहीं थी — मनोवैज्ञानिक झटका भी थी, खासकर कप्तान की बेपटरी प्रतिक्रिया ने टीम को ठहराव पर ला दिया।
कोचिंग और फैंस की भूमिका
आयरलैंड के कोच Heimir Hallgrímsson ने खिलाड़ियों को आत्मविश्वास और अनुशासन के साथ खेलते रहने की प्रेरणा दी। उनकी टीम ने न सिर्फ प्रतिभा दिखायी, बल्कि फैंस के समर्थन और घरेलू मंच का पूरा फायदा उठाया। उन्होंने कहा कि दर्शकों की ऊर्जा टीम को झुकाव से लड़ने में बहुत मदद करती है।
भावी परिदृश्य और मायने
यह रोमांचक जीत आयरलैंड के लिए बहुत महत्वपूर्ण है, क्योंकि उन्होंने क्वालीफाइंग की दौड़ में खुद को फिर से बना लिया है। गिरते पुर्तगाल के लिए यह हार समय का अलार्म बनकर आई है — खासकर अब जबकि उनके कप्तान के रूप में Ronaldo पर प्रतिबंध की संभावना बढ़ गई है। आयरलैंड का आत्मविश्वास अब ऊँचे स्तर पर है — वे एक प्लेऑफ स्थान के लिए सब कुछ दांव पर लगा सकते हैं।
क्यों यह जीत मायने रखती है?
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आयरलैंड के लिए बड़ी उपलब्धि
आयरलैंड पिछले कई वर्षों से किसी बड़े टूर्नामेंट के लिए क्वालिफाई नहीं कर पाया था (उनकी पिछली विश्व कप उपस्थिति 2002 में थी)। इस जीत ने उनकी उम्मीदों को ज़िंदा रखा है — प्लेऑफ की राह अब खुली दिख रही है। -
पुर्तगाल पर दबाव
पुर्तगाल इस ग्रुप में पहले स्थान के अंक हासिल करके सीधे क्वालीफाई करना चाह रहा था, लेकिन इस हार ने उन्हें झटका दिया है। अब उनका आत्मविश्वास और स्थिति दोनों खतरे में हैं।
आगे क्या है?
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ग्रुप-F में शीर्ष स्थान पर रहने वाली टीम सीधे 2026 विश्व कप के लिए क्वालीफाई करेगी। दूसरे स्थान पर आने वाली टीम प्लेऑफ में जाएगी।
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इस हार के बाद पुर्तगाल को आखिरी मैच (विरोधी टीम: Armenia) में जीत या favorable परिणाम की जरूरत होगी।
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आयरलैंड के लिए अगला मैच बेहद महत्वपूर्ण है — यदि वे Hungary के खिलाफ जीतते हैं, तो प्लेऑफ की उम्मीदें और मजबूत होंगी।
कुछ मुख्य बिंदु
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Troy Parrott का प्रदर्शन: उनकी दो गोलों ने आयरलैंड को बढ़त दिलाई।
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पुर्तगाल के शॉट्स बहुत थे लेकिन गोल नहीं मिले — xG डेटा भी यही दिखाता है कि आयरलैंड ने मौके बेहतर उपयोग किए। Ronaldo का व्यवहार और रेड कार्ड मैच का टर्निंग प्वाइंट था — निराशा और नियंत्रण खोना दोनों॥
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आयरलैंड ने डिफेंसिव रूप से बहुत अच्छा खेल दिखाया, खासकर जब पुर्तगाल दबाव बना रहा था।
इस मैच ने फुटबॉल की सबसे बड़ी खूबी दिखाई: कभी बड़े टीम हमेशा जीतें, यह ज़रूरी नहीं। रणनीति, जुनून और मौके का सही इस्तेमाल किसी भी गेम को पलट सकता है। आयरलैंड ने अपनी सीमित क्षमता का अधिकतम उपयोग किया। पुर्तगाल, जबकि संरचनात्मक तौर पर मजबूत, अराजक भावनाओं और पिछले अनुभवों के बोझ तले दब गए। यह जीत न केवल अंक तालिका में मायने रखती है, बल्कि आयरलैंड के भविष्य को भी नया आकार दे सकती है।